6 बड़े नेताओं पर व्यंग्य लेख – Political Leaders Vyang | Neta Vyangya – यहाँ प्रस्तुत नेताओं पर हास्य व्यंग मीडिया पर प्रसारित खबरों व जानकारी के आधार पर है। यह राजनीतिक हास्य विनोद है। व्यक्तिगत नहीं।
नेताओं पर व्यंग्य
हास्य व्यंग्य : राहुल गाँधी में फ्यूचर
राहुल जी जब देते गाली
वार ना जाए उनका खाली
उल्टा आये लौटकर
मोदी जी को वोटकर
राहुल गाँधी ने हर चुनाव में सिर्फ एक काम बहादुरी से सबसे अच्छा किया। नरेंद्र मोदी को गाली देने का और सारी गालियां ऐसा लगा मानो राहुल जी के लिए मोदी की तरफ से शाप बन गयी। क्योंकि इस वजह से राहुल जी सभी चुनावी मोर्चों पर विफल हो गए।
कांग्रेस की जमीन रही खिसक
राहुल जी देखो रहे सिसक सिसक
कभी कांग्रेस को पकड़े तो कभी भागे
कांग्रेस दौड़े पीछे पीछे ये आगे आगे
कांग्रेस की राजनीतिक जमीन दरअसल खिसक गयी है। अब यह जमीन मोदी सुनामी से खिसकी है या फिर मोदी भूकंप से। यह तो रिसर्च का विषय है। किन्तु हाँ यदि राहुल अब कांग्रेस को छोड़कर इटली भागे तो इटली में कोरोना के बाद भूकंप से बड़ी त्रासदी आयेगी।
राहुल बाबा करे कमाल
कांग्रेस को बना रुमाल
बनाते बनाते कर रहे
भाजपा को मालामाल
क्योंकि राहुल जी वो त्रासदी नायक हैं। जिन्होंने इतनी पुरानी पार्टी की मजबूत जड़ों को हिला दिया। और अब उखाड़ के फेंकने में निरंतर प्रयासरत हैं। रही कांग्रेस की विशालता की बात तो राहुल जी निरंतर अपनी ज्ञान रूपी कैची से धोती से रुमाल बनाने में लगे हैं।
राहुल जी द्वारा कांग्रेस की रणनीति में कभी विकास पागल होता है। तो कभी चौकीदार चोर। और माईक पर इतना मचाते हैं शोर। कि रणनीति ही हवा हो जाती है।
Netao Par Vyang
राहुल देश के युवाओं की
नब्ज पकड़ने में रहे विफल
फिर भी कोंग्रेसी कह रहे
राहुल जी हो रहे हैं सफल
तो कैसे हो सके मोदी की कामना
“कांग्रेस मुक्त भारत” निष्फल
वास्तविकता यह कि राहुल जी युवा होकर भी देश के युवाओं की नब्ज पकड़ नहीं पाए हैं। नाही आज की राजनीति को समझ पाए हैं। उनका फोकस है मोदी जी को नाकारा साबित करना। इस क्रिया में राहुल जी खुद मोदी फॉलोवर बन गए हैं।
फ़िलहाल राहुल जी का यही वर्तमान अप्रत्यक्ष रूप से जनता देख रही है। और भविष्य में मोदी के अलावा जब राहुल को कुछ और नहीं दिखाई देता। तो जनता को कैसे उनमें प्रधानमंत्री दिखाई देगा।
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6 बड़े नेताओं पर व्यंग्य लेख – Political Leaders Vyang | Neta Vyangya
कांग्रेसी नेता रोबर्ट वाड्रा पर व्यंग्य
किसान रॉबर्ट वाड्रा
आप भले ही Robert Vadra को प्रियंका गाँधी के पति के रूप में जानते हों। लेकिन वास्तविकता में रोबर्ट एक किसान है। देश की जमीनी पार्टी कांग्रेस के दामाद होने के नाते Robert Wadra खुद जमीन से इतने जुड़ गए कि किसानों की जमीन को नहीं छोड़ा।
और यही कारण है कि वर्तमान में ई डी जैसी जांच एजेंसियाँ उन्हें नहीं छोड़ रही। E D ने तो रोबर्ट वाड्रा को इतना पकड़-पकड़ के पूछा था। कि रोबर्ट वाड्रा के नाम पर कांग्रेस ढंग से पोछा नहीं लगा पाती।
वैसे Robert Vadra को घबराने की आवश्यकता नहीं क्योंकि उनकी वजह से पूरी कांग्रेस घबरायी हुई है। प्रियंका ने एक हाथ से पति को पकड़ा है तो दूसरे हाथ से भाई राहुल गाँधी को। सो अब समस्या यह है कि किसका हाथ मजबूती से पकडे। एक तरफ रक्षा बंधन वाला हाथ है तो दूसरी तरफ मांग का सिन्दूर।
मांग के सिन्दूर को ई डी (प्रवर्तन निदेशालय) परेशान करता है तो रक्षाबंधन वाले हाथ को मोदी। वैसे कांग्रेस के लाडले दामाद श्री मान रोबर्ट वाड्रा ने किसानों की जमीन को कांग्रेस से मिले दहेज़ के रूप में समझ लिया अब दहेज़ तो अपराध है। इसके लिए कानून खुद कांग्रेस पार्टी राजीव गाँधी के समय लेकर आयी थी।
खैर Robert Vadra ने आज से कुछ सालों पहले कांग्रेस को दिल से गले लगाया तो कांग्रेस भी पूरी जिम्मेदारी के साथ रोबर्ट को जमीन से लगाया। अब जमीन की जगह ई डी ने Robert को पकड़ा है। कांग्रेस भी क्या करे अब प्रियंका गाँधी के समान की किसी भूतपूर्व कांग्रेसी नेता से दामाद जी की तुलना करने से तो रही नहीं।
कांग्रेस के इस किसान को राजस्थान के सभी किसान हमेशा याद रखेंगे।
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4 बड़े नेताओं पर व्यंग्य लेख – Netao Par Vyang Lekh | Hindi Satire
Political Leaders Satire in Hindi
केजरी जी छुपाये खुजली
देश की राजधानी में दो सरकारें चलती है। एक तरफ मोदी जी का कमल है। तो दूसरी तरफ अरविन्द केजरीवाल जी का झाड़ू। केजरी जी का झाड़ू कमल से ना केवल साइज में ही बड़ा है। अपितु गत दिल्ली विधानसभा चुनाव में मिली भारी भरकम सीटों से शक्तिशाली है।
किन्तु सरकार चलाते वक्त ना जाने क्यों झाड़ू कभी तो दिल्ली LG के पैरों के नीचे आता है। तो कभी PM कार्यालय की सफाई करने लगता है। सच कहें तो केजरी जी खुद समझ नहीं आता कि आखिर वह यह झाड़ू कहाँ चलाएं। दिल्ली में, या मोदी पर।
समस्या यह केजरी सरकार को पंख तो जनता ने शक्तिशाली दिए हैं। किन्तु केंद्रशासित प्रदेश की श्रेणी में होने से पंख पहले से कुतरे हुए हैं। अतः फलस्वरूप केजरी जी के इन पंखों में खुजली होती है। जिसका इलाज उन्हें मिलता नहीं।
मिलता है तो फिर वह कभी स्वयं को, कभी मोदी को और कभी LG को दोष देते हैं। आखिर बेचारे दिल्ली वो दे भी तो नहीं पा रहे जो वो देना चाहते हैं। क्योंकि उनका आरोप है कि मोदी जी उन्हें देने नहीं देते। हालांकि तन और मन तो वह दे चुके हैं।
खैर अब दिल्ली का जनता है। और दिल्ली की जनता के राजा है केजरीवाल जिनको बीमारी ने बना दिया है खुजलीवाल। नेताओं पर व्यंग्य लेख – 6 Political Leaders Vyang | Neta Vyangya पढ़ें – राजनीति पर कविता
6 बड़े नेताओं पर व्यंग्य लेख
हमारे पास माँ है
यदि कांग्रेस से पुछा जाए तुम्हारे पास क्या है ? तो एक ही बड़ा मजेदार जवाब होगा। हमारे पास माँ है। कांग्रेस में जो कद सोनिया का है वह दूसरे किसी बड़े नेता का तो छोड़ लाडले राहुल जी का भी नहीं।
जब भी कोई माँ सोनिया गाँधी पर ऊँगली उठाता है। तो कांग्रेस का बच्चा बच्चा उस ‘कोई’ का हाथ उखाड़ने को तैयार जो जाता है। चाहे अर्नब गोस्वामी जैसा बड़ा पत्रकार ही क्यों ना हो।
खैर सोनिया जी ने कांग्रेस को अपने अनुरूप की कांग्रेस बनाये रखने में बड़ी अहम् भूमिका बनाई है। किसी भी कांग्रेसी की गाँधी परिवार के प्रति चापलूसी और प्रशंसा के आधार पर उसकी योग्यता तय होती है।
वरना फिर टिकट, जो कि नेता बनने, राजनीतिक शक्ति पाने की प्रथम सीढ़ी है। उस नेता से कोसों दूर रहती है। जो गाँधी परिवार की गलतियों को प्यार ना करे।
कांग्रेसी नेताओ के दिल में अपने दिलबर की तस्वीर हो ना हो किन्तु माँ सोनिया गाँधी रखनी पड़ती है। क्योंकि यदि सोनिया जी नाराज हो गई, तो कांग्रेस पार्टी में उसकी किस्मत सो गई।
कुछ कांग्रेसी नेता तो इस बात को जान भी गए। और अपनी प्राणों से प्यारी पार्टी के अस्तित्व को संकट में डालकर पलायन भी कर गए।
सोनिया का प्यार कांग्रेस में सबके प्रति सम्मान तो नहीं, किसी के प्रति बड़ा असीम भी है। जिनमें है पूर्व प्रधानमंत्री मन मोहन जी। मन मोहन जी से माँ सोनिया को इतना लगाव था। कि प्रधामंत्री बनाने के बाद भी उनको निर्णय लेने का कष्ट नहीं होने दिया।
अतः कांग्रेस को नई कांग्रेस बनाने में सोनिया जी बड़ा ही अहम रोल है। भले ही कांग्रेस का बिगड़ा राजनीतिक भूगोल है। नेताओं पर व्यंग्य लेख – 6 Political Leaders Vyang | Neta Vyangya पढ़ें – आरक्षण पर कविता
Neta Hasya Vyang
प्रियंका में इंदिरा
कहते हैं प्रियंका जी का चेहरा ही नहीं उनका अंदाज़ भी इंदिरा जी जैसा है। हाँ वही इंदिरा जी, जिन्हें आयरन लेडी कहा जाता है। अब आयरन कितना है यह तो जनता ने चुनाव के नतीजों में चूरन थमा कर बता दिया।
कांग्रेस के साथ कहीं पत्रकारों का मानना भी है। कि प्रियंका जी में इंदिरा जी जैसी क्षमता है। बस जरूरत है उस क्षमता को जनता के सामने लाने की। किन्तु क्षमता बाहर आएगी कैसे। क्योंकि सामने तो स्वयं भ्राता राहुल जी है।
क्षमता को यदि पूर्ण रूप से बाहर लाना है। तो भाई राहुल को साइड में कर प्रियंका को प्रधानमंत्री का दावेदार बनाना होगा। लेकिन कांग्रेसी नेताओं ने प्रियंका को ही साइड में कर रखा है।
अब साइड में से तो प्रियंका की साइड गिलास वाली इंदिरा ही दिखाई देगी। और मोदी जैसे ब्रांड के आगे फुल टैलेंटेड और पूर्ण प्रभावी इंदिरा चाहिए। आधी अधूरी नहीं।
बस कांग्रेस की यह सबसे बड़ी समस्या है। राहुल जी जिन्हे सब नौसिखिया समझते हैं। उनको अपना नेता बनाये। या प्रियंका गाँधी को जिनमें मीडिया भी इंदिरा देखता है। नेताओं पर व्यंग्य लेख – 6 Political Leaders Vyang | Neta Vyangya
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Political Leaders Vyang
यहाँ पर प्रस्तुत हास्य व्यंग्य राजनीतिक विचारों से प्रेरित है। इनका कोई व्यक्तिग टिप्पणी नहीं है। मीडिया में प्रचलित उनके प्रति खबरों के आधार पर ही ये हास्य हास्य व्यंग प्रस्तुत हैं। नेताओं पर व्यंग्य लेख – 6 Political Leaders Vyang | Neta Vyangya Watch – Educational Qualification of Member of Parliament
राजनीति की बिसात बड़ी ही अनोखी होती है। यहाँ पक्ष विपक्ष एक दूसरे को ना ना प्रकार के नामों से सम्बोधित करते हैं। हमने उसी का आधार बनाकर नेताओं पर हास्य व्यंग्य प्रस्तुत किये हैं। Watch – Top Ten Educated Politician of India
भारत की राजनीति अन्य देशों से काफी भिन्न है। क्योंकि यहाँ के भौगोलिक स्तिथि, खानपान, रहन सहन, भाषा में काफी विविधताएं है। अतः अलग अलग राज्यों से आये नेताओं के मुद्दे भी काफी अलग अलग होते हैं। नेताओं पर व्यंग्य लेख – 6 Political Leaders Vyang | Neta Vyangya
भारत में राजनीति का हर रूप के साथ ही एक नेता के भी सारे अच्छे बुरे स्वरुप के दर्शन होते हैं। आपको ये सभी हास्य व्यंग्य कैसे लगे। कमेंट के माध्यम से हमें अपनी प्रतिक्रिया अवश्य दें।